मुंबई की आखरी लॉकल ट्रेन… मंगल और मंगला नाम के बीच का confusion…!!!
और उसको कुछ महिलाओं ने पीटा भी है। मुंडे साहब। मुझे पहले से जानते थे। क्योंकि मैं पॉलिटिकल कवरेज किया करती थी? उनको लगा मैं हूं। तो उन्होंने ये विषय अधिवेशन में छेड़ दिया। अधिवेशन में? विषय निकला कि महिलाओं की सुरक्षा को लेकर। ऐसा है? वैसा है। यहां पर ऐसी जरूरत है? वैसे जरूरत है। बहुत कुछ हुआ। दोस्तों मगर जब यह बात पता चली कि वो मंगल मैं नहीं हूं? तो मैंने तो कोई सवाल नहीं किया वे किसी के साथ? क्योंकि मेरा कोई अधिकार नहीं था। उससे और क्रॉस के तभी करती।
शहर में 1 नाइट लाइफ है। जो बहुत ही सहायक है। जो लीड शिफ्ट में जो स्टूडेंट प्रिपेयर कर रहे है। काम के लिए। उनके लिए बहुत ही महत्वपूर्ण है। जो बहुत ही इसके फायदे भी हैं। जो लास्ट ट्रेन 1 बजे चलती है उसमें बहुत लोगों के लिए कंविनियंस रहता है। बहुत 1 सेफ्टी रहती है। जहाँ पर हम 1 सेफर ट्रांसपोर्ट से ट्रैवल कर सकते हैं।